मुंबई
छात्रों को अनुशासन में रखने के साथ-साथ बांद्रा के एक स्कूल ने पैरंट्स को भी उनके कपड़ों को लेकर निर्देश जारी किए हैं। स्कूल ने बताया है कि पैरंट्स को स्कूल में होने वाली मीटिंग्स में क्या पहनकर पहुंचना चाहिए। पैरंट्स को कहा गया है कि उन्हें साधारण व शालीन कपड़े पहनकर स्कूल मीटिंग्स में शामिल होना चाहिए।
जब रिजवी स्प्रिंगफील्ड स्कूल में नवीं क्लास के बच्चों के पैरंट्स 30 मार्च को उनके रिपोर्ट कार्ड लेने स्कूल पहुंचे तो उन्हें निर्देंशों की लिस्ट दी गई। पैरंट्स से उस लिस्ट पर साइन करने की उम्मीद की जा रही थी। निर्देशों के मुताबिक, 'मैं स्कूल में साधारण व शालीन कपड़े पहनकर आऊंगा/आऊंगी। अगर मैं ऐसा नहीं कर पाता/पाती तो अंजाम का जिम्मेदार मैं खुद होऊंगी/होऊंगा।'
इतना ही नहीं, मीटिंग्स के दौरान पैरंट्स से अपने मोबाइल फोन्स रिसेप्शन पर छोड़कर आने के लिए भी कहा गया। इसके अलावा यह भी कहा गया कि स्टाफ से कोई गैरवाजिब सवाल न पूछा जाए और न ही उनके साथ भद्दी भाषा का प्रयोग किया जाए।
छात्रों को अनुशासन में रखने के साथ-साथ बांद्रा के एक स्कूल ने पैरंट्स को भी उनके कपड़ों को लेकर निर्देश जारी किए हैं। स्कूल ने बताया है कि पैरंट्स को स्कूल में होने वाली मीटिंग्स में क्या पहनकर पहुंचना चाहिए। पैरंट्स को कहा गया है कि उन्हें साधारण व शालीन कपड़े पहनकर स्कूल मीटिंग्स में शामिल होना चाहिए।
जब रिजवी स्प्रिंगफील्ड स्कूल में नवीं क्लास के बच्चों के पैरंट्स 30 मार्च को उनके रिपोर्ट कार्ड लेने स्कूल पहुंचे तो उन्हें निर्देंशों की लिस्ट दी गई। पैरंट्स से उस लिस्ट पर साइन करने की उम्मीद की जा रही थी। निर्देशों के मुताबिक, 'मैं स्कूल में साधारण व शालीन कपड़े पहनकर आऊंगा/आऊंगी। अगर मैं ऐसा नहीं कर पाता/पाती तो अंजाम का जिम्मेदार मैं खुद होऊंगी/होऊंगा।'
इतना ही नहीं, मीटिंग्स के दौरान पैरंट्स से अपने मोबाइल फोन्स रिसेप्शन पर छोड़कर आने के लिए भी कहा गया। इसके अलावा यह भी कहा गया कि स्टाफ से कोई गैरवाजिब सवाल न पूछा जाए और न ही उनके साथ भद्दी भाषा का प्रयोग किया जाए।
स्कूल के ये फरमान कई पैरंट्स को पसंद नहीं आए। उनका आरोप है कि पैरेंट्स को शांत करने के लिए स्कूल ये निर्देश लाया है।
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