सत्ता में रहते राजनेताओं के ठाठ कोई नई बात नहीं है. लेकिन, सत्ता से लंबे समय से बाहर किसी नेता को जन्मदिन पर तोहफे में हेलीकॉप्टर मिले तो इसकी चर्चा होना लाजमी है. छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के 29 अप्रैल को जन्मदिन पर ऐसा ही कुछ खास होने जा रहा है. उन्हें तोहफे में हेलीकॉप्टर मिलेगा. हेलीकॉप्टर बेशक सेकेंड-हैंड है लेकिन है तो हेलीकॉप्टर ही.
ये हेलीकॉप्टर अभी छत्तीसगढ़ के आसमान में उड़ान तो नहीं भर रहा लेकिन उसके यहां दस्तक देने की खबर से ही राजनीतिक गलियारा गरमाया हुआ है. जोगी खेमे के नेताओं का दावा है कि उन्होंने अपनी जेब ढीली कर ये हेलीकॉप्टर खरीदा है.
जोगी ने कांग्रेस से निष्कासित होने के बाद छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस नाम से अपनी पार्टी बनाई. उनके पुत्र अमित जोगी छत्तीसगढ़ में विधायक हैं. छत्तीसगढ़ में मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के नेताओं का आरोप है कि राज्य की बीजेपी सरकार पिछले दरवाजे से इस हेलीकॉप्टर को जोगी तक पहुंचाने में मदद कर रही है. हालांकि तोहफे में मिलने वाले हेलीकॉप्टर को लेकर अजीत जोगी और उनके विधायक पुत्र ने फिलहाल चुप्पी साध रखी है.
अजीत जोगी राज्य की राजनीति में अपनी पुरानी धमक पाने के लिए जी-तोड़ प्रयास कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि अजीत जोगी के दो समर्थकों ने उनके लिए 7 करोड़ रुपए में सेकेंड हैंड हेलीकॉप्टर खरीदा है. उम्मीद जताई जा रही है कि दिल्ली से यह हेलीकॉप्टर 15 अप्रैल को रायपुर पहुंच जाएगा.
सूत्रों के मुताबिक जोगी समर्थक विधायक आर के राय और एक ट्रांसपोर्ट कारोबारी जोगी को उनके जन्मदिन पर हेलिकॉप्टर सौपेंगे. बताया जा रहा है कि OSS कंपनी का ये हेलीकॉप्टर दिल्ली से खरीदा गया है. इस कंपनी के मालिक दुबई में रहते हैं. 7 करोड़ के हेलीकॉप्टर को खरीदने के लिए 3.5 करोड़ फाइनेंस कराया गया है. बैंक की प्रक्रिया अंतिम चरण में है. हेलीकॉप्टर चार सीट वाला है.
छत्तीसगढ़ के राजनीतिक गलियारों में इस बात की चर्चा है कि अजीत जोगी को हेलीकॉप्टर मुहैया कराने के पीछे सत्ताधारी दल बीजेपी के नेताओं का हाथ है. कहा जा रहा है कि चौथी बार बीजेपी सत्ता में आने के लिए जोगी को तुरुप का पत्ता मान कर चल रही है. जोगी की कोशिश यही है कि प्रचार-प्रसार के मामले में कांग्रेस को पीछे छोड़ दें.
बीजेपी को उम्मीद है कि जोगी सिर्फ कांग्रेस के अरमानों पर ही पानी फेरेंगे. नतीजतन कांग्रेस मत विभाजन के दौर से गुजरेगी और ऐसी सूरत में बीजेपी को 2018 के विधानसभा चुनाव में फिर सत्ता में काबिज होने में आसानी रहेगी. हालांकि बीजेपी और उसके नेता जोगी को किसी तरह की मदद की बात से इंकार करते हैं.
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