क्या 68 दिन बाद होगी रिलीज, बीजेपी चाहती है गुजरात चुनाव के बाद आए पद्मावती? - JBP AWAAZ

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Saturday, 18 November 2017

क्या 68 दिन बाद होगी रिलीज, बीजेपी चाहती है गुजरात चुनाव के बाद आए पद्मावती?

भंसाली की फिल्म पद्मावती की प्रस्तावित रिलीज डेट नजदीक आते ही विवाद चरम पर पहुंचता जा रहा है. सिनेमाघर जलाने, जान से मारने और हिंसा फैलाने की धमकी दी जा रही है. यूपी सरकार ने भी विवाद को लेकर दावा कि लोगों में गुस्सा है. निकाय चुनाव के मद्देनजर यूपी में फिल्म रिलीज होने से अशांति फैल सकती है. इस बीच मेरठ में एक राजपूत नेता ने संजय लीला भंसाली के खिलाफ फरमान जारी किया. उसने कहा, जो भंसाली का सिर काट कर लाएगा उसे पांच करोड़ इनाम मिलेगा. 1 दिसंबर को फिल्म की रिलीज पर असमंजस की स्थिति बन गई है. लेकिन फिल्म के सिनेमाघर तक पहुंचने में तकनीकी संकट भी सामने आ रहे हैं.

सूत्रों का यह भी कहना है कि सेंसर बोर्ड की ओर से फिल्म का रिव्यू नहीं किया गया है. कहा यह भी जा रहा है कि शुक्रवार को पद्मावती के सर्टिफिकेशन के आवेदन को अधूरा बताकर निर्माता को लौटा दिया. सूत्रों ने दावा किया कि बोर्ड ने फिल्म के सर्टिफिकेशन का फैसला 68 दिन तक टाल दिया है. सूत्रों के अनुसार भाजपा चाहती है कि 9 14 दिसंबर को गुजरात में मतदान के बाद ही फिल्म रिलीज हो.

अब तक क्या हुआ, किसने क्या कहा?

अब 12 जनवरी को फिल्म : संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावती की प्रस्तावित रिलीज डेट को लेकर असमंजस की स्थिति बन गई है. सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया कि फिल्म 12 जनवरी के दिन रिलीज होगी. इसे 1 दिसंबर को रिलीज किया जाना था. हालांकि पद्मावती निर्माताओं में से एक Viacom18 के सीओओ अजीत अंधारे ने पद्मावती की रिलीज टेड आगे खिसकने की खबरों को आधारहीन कहा.

दीपिका के साथ इंटीमेट सीन के लिए पद्मावती नहीं: करणी सेना के चीफ लोकेंद्र सिंह ने रणवीर सिंह के एक पुराने बयान का हवाला देते हुए कहा, 'रणवीर कह चुके हैं कि दीपिका के साथ अगर कोई अंतरंग सीन है तो मैं विलेन नहीं उससे भी नीचे का रोल कर लूंगा. रणवीर, दीपिका पादुकोण दिखाते रहे अंतरंग दृश्य, पर अलाउद्दीन खिलजी और पद्मावती को हम नहीं दिखाने देंगे.' बता दें कि दीपिका और रणवीर एक-दूसरे के रिलेशनशिप्स में भी हैं.

केंद्रीय गृह राज्यमंत्री ने कहा- इतिहास से छेड़छाड़ ठीक नहीं: हंसराज अहीर ने कहा, इतिहास के साथ किसी को भी छेड़छाड़ नहीं करनी चाहिए. एक अपना इतिहास है. इतिहास को पढ़कर फिल्म बनानी चाहिए. लोगों की भावनाएं हैं. उनका सम्मान करना चाहिए.

ऐसी फिल्मों के पीछे दुबई की फंडिंग: 'पद्मावती' पर बढ़ते विवाद के बीच सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने ट्वीट कर फिल्मों में लगने वाले पैसों पर सवाल उठाया है. उन्होंने शुक्रवार को ट्वीट किया- क्या दूसरे प्रोड्यूसर्स को रामायण का नया वर्जन बनाने के लिए दुबई से पैसा आता है, जिसमें सीता को रावण के छींक से जन्मीं दिखाया जाता है. किसी रानी को अर्धनग्न कपड़ों और डांस करते हुए दिखाना सही नहीं है. दुबई से जो पैसा फिल्मों में लगाते हैं वो चाहते हैं कि हमारी फिल्मों में मुस्लिम शासकों को दयालु दिखाया जाए और हिंदू रानियों को उनसे प्यार में पड़ने के लिए उत्सुक दिखाया जाए.

तेजाब डालने की धमकी: मेरठ में फिल्म के निर्देशक भंसाली पर तेजाब डालने की धमकी दी गई है. इससे पहले मेरठ में ही एक राजपूत नेता में भंसाली के सिर के बदले 5 करोड़ इनाम देने की घोषणा की थी.

चित्तौड़गढ़ में फायरिंग: राजस्थान में फिल्म का तगड़ा विरोध किया जा रहा है. चित्तौड़गढ़ में फिल्म की रिलीज के विरोध में प्रदर्शन हो रहा था. इस दौरान उपद्रव नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने कई राउंड हवाई फायरिंग की. दरअसल, प्रदर्शनकारी चित्तौड़गढ़ का किला बंद कराने की कोशिश कर रहे थे. बवाल बढ़ता देख पुलिस ने हवाई फायरिंग की. बता दें कि राजस्थान में विभिन्न संगठनों के लोग हथियारों के साथ प्रदर्शन कर रहे हैं.

मैं पद्मावती की 37वीं पीढ़ी का वंशज : पटना में आजतक से खास बातचीत में करणी सेना के चीफ लोकेंद्र सिंह ने कहा, 'सेंसर बोर्ड को कोई अधिकार नहीं कि वह ऐसी फिल्म पास करें, जिसमें लोगों की भावनाओं से खिलवाड़ किया गया है. ये क्या हो रहा है. हम इसे नजरअंदाज नहीं कर सकते. यह कहा जा रहा है कि कोई पद्मावती नहीं थीं. अगर ऐसा है तो मैं कहां से आया? मैं पद्मावती की 37वीं पीढ़ी का वंशज हूं.' लोकेंद्र ने कहा, 'किसी भी हालत में पद्मावती को रिलीज नहीं किया जा सकता. हम 1 दिसंबर को भारत बंद करेंगे.'

भंसाली के चेहरे पर पोत देंगे कालिख: मध्य प्रदेश के भोपाल में संस्कृति बचाओ मंच ने फिल्म के निर्देशक भंसाली और एक्ट्रेस दीपिका पादुकोण के खिलाफ हवन कर विरोध जताया. मंच के कार्यकर्ताओं ने कहा, अगर वो यहां आए तो हम उनके चेहरे पर कालिख पोत देंगे. हम उनके खिलाफ एक मामला दर्ज करने वाले हैं.

तो नहीं रिलीज हो पाएगी पद्मावती: फिल्म 1 दिसंबर को नहीं रिलीज हो सकती. कुछ रिपोर्ट्स की मानें तो अभी तक मेकर्स ने सेंसर के पास फिल्म नहीं भेजी है. नियमों के मुताबिक, रिलीज से 15 दिन पहले फिल्म को सेंसर के पास भेजना होता है. सूत्रों की मानें को फिल्म की पहली कॉपी का काम पूरा नहीं हुआ है. जिस वजह से इसे सेंसर के पास नहीं भेजा जा सका है. रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि नियम का पालन हुआ तो फिल्म प्रस्तावित तारीख पर रिलीज नहीं होगी. क्योंकि प्रस्तावित तारीख पर रिलीज के लिए फिल्म भेजने की अवधि खत्म हो गई है. हालांकि कुछ दिन पहले फिल्म के मेकर्स की तरफ से जारी बयान में दावा किया गया था कि फिल्म सेंसर के पास भेज दी गई है.

शादी कार्ड पर भावुक कविता से फिल्म का विरोध :  सुरेन्द्र सिंह पंवार नाम के दूल्हे ने अपनी शादी के कार्ड्स में पद्मावती के सम्मान और फिल्म के विरोध के स्लोगन लिखवाए हैं. सुरेन्द्र सिंह की शादी 23 नवंबर को होनी है. कार्ड में पहले पद्मावती का ​बहिष्कार करने की अपील की गई है. इसके बाद रानी के अदम्य साहस और जौहर पर 4 लाइनों में कविता लिखी है. कविता में कहा गया है- 'इक रानी की बात नहीं, पद्मिनी हो या जोधा कहें, फिल्माने की बात नहीं, ​बात सिर्फ है स्वाभिमान की, सत्य सनातन वो ज्योति, उसपे बात करे कोई तो, हमसे सहन नहीं होती.' कविता के बाद लिखा है कि रानी पद्मावती का अपमान नहीं सहेंगे.

दीपिका की सुरक्षा बढ़ाई : पद्मावती विवाद में दीपिका पादुकोण को करणी सेना की तरफ से नाक काटने की धमकी और एक राजपूत नेता की ओर से भंसाली के सिर पर पांच करोड़ का इनाम रखने के बाद मुंबई में दोनों सेलेबस की सुरक्षा बढ़ा दी गई है. दीपिका को घर और कार्यालय में सुरक्षा मुहैया कराई जाएगी.

केंद्रीय मंत्री ने दी हद में रहने की सलाह: केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि बेहतर होगा अगर फिल्ममेकर्स सीमा में रहें. उन्होंने मेकर्स पर आरोप लगाते हुए कि अभिव्यक्ति की आजादी मूलभूत अधिकार जरूर है लेकिन एक सीमा में रहे तो बेहतर है. गडकरी ने आगे कहा, मेकर्स को सांस्कृतिक संवेदनशीलता बनाए रखने की आवश्यकता है. फिल्म में इतिहास के साथ छेड़छाड़ नहीं किया जा सकता. लोगों को फिल्म से नाराज होने का अधिकार है. बीजेपी के सीनियर नेता का यह बयान उस समय आया है जब देशभर में फिल्म के खिलाफ प्रदर्शन उग्र हो रहा है.

अंग्रेजों ने रौंदा था महाराजा का सम्मान : वहीं पद्मावती के खिलाफ सड़कों पर उतरे राजपूत राजघरानों के लिए कांग्रेस सांसद शशि थरुर ने दावा किया कि आज जो ये तथाकथित जाबांज महाराजा एक फिल्मकार के पीछे पड़े हैं और दावा कर रहे हैं कि उनका सम्मान दांव पर लग गया है. यही महाराजा उस समय भाग खड़े हुए थे जब ब्रिटिश शासकों ने उनके मान सम्मान को रौंद दिया था.

मौजूदा स्थिति सांस्कृतिक आतंकवाद : कई मौकों पर केंद्र की बीजेपी सरकार का खुलकर समर्थन करने वाले IFTDA के कन्विनर अशोक पंडित ने 'पद्मावती' पर जारी गतिरोध को सांस्कृतिक आतंकवाद करार दिया. उन्होंने कहा, 'पूरी फिल्म इंडस्ट्री इस वक्त निशाने पर है. हमारे ऊपर हमले हो रहे हैं, हमें मारा जा रहा है, गालियां दी जा रही हैं. हम क्रिएटिव लोगों को धमकियां मिल रही हैं लेकिन ये तो हम तय करेंगे कि हमें क्या बनाना है या नहीं. इस तरह की स्थिति सांस्कृतिक आतंकवाद है'. पूरे मामले में IFTDA ने केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह को एक लेटर भी लिखा है.

बचाव में उतारी उमा भारती : करणी सेना की ओर से नाक काटने की धमकी मिलने के बाद केंद्रीय मंत्री उमा भारती उनके बचाव में आई हैं. उन्होंने कहा, ये भारतीय नारी का अपमान है. उन्होंने ट्वीट कर कहा, 'जब हम पद्मावती के सम्मान की बात करते हैं, तो हमें सभी महिलाओँ के सम्मान का ध्यान रखना होगा.' उन्होंने यह भी लिखा, 'फिल्म पद्मावती के संदर्भ में उस फिल्म की अभिनेत्री या अभिनेताओं के बारे में कोई भी टिप्पणी उचित नहीं है. उनकी आलोचना अनैतिक होगी.'

बढ़ाई गई भंसाली की सुरक्षा : विवाद के मद्देनजर महाराष्ट्र सरकार ने भंसाली की सिक्युरिटी कवर बढ़ा दी है. पहले भंसाली के घर और जुहू स्थित आफिस के बाहर पुलिस का पहरा था. अब भंसाली के साथ दो गनमैन 24 घंटे के लिए तैनात किए गए हैं. ये सुरक्षा भंसाली को तब तक दी जाएगी, जब तक उन पर खतरा है. इसके साथ ही भंसाली के घर और उनके आफिस के बाहर पुलिस पेट्रोलिंग बढ़ा दी गई है.

तो काट लेंगे दीपिका की नाक : राजपूत करणी सेना की ओर से बनाए गए एक वीडियो में महिपाल सिंह मकराना ने कहा, 'राजपूतों ने कभी औरतों पर हाथ नहीं उठाया. लेकिन जरूरत पड़ी तो हम दीपिका के साथ वही करेंगे जो लक्ष्मण ने शूर्पणखा के साथ किया था.'

सिनेमाघर के मालिकों को खून से लिखेंगे चिट्ठी : यूपी में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राजपूत करणी सेना के चीफ लोकेंद सिंह ने कहा, 'यदि फिल्म 1 दिसंबर को रिलीज हुई तो लाखों लोग इसके विरोध में जमा होंगे. हमारे पूर्वजों ने खून से इतिहास लिखा है. हम किसी को इस पर कालिख नहीं पोतने देंगे. हम 1 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान करेंगे.' उन्होंने कहा, 'भंसाली की फिल्म पद्मावती के खिलाफ खून से लिखी चिट्ठी हर डीएम और सिनेमाघर के मालिक को भेजी जाएगी. राजपूत समाज हर हार में सिनेमाघरों में फिल्म की रिलीज होने से रोकेगा'.

CBFC को खून से हस्ताक्षर कर भेजी चिट्ठी : जयपुर में एक ब्राह्मण संगठन ने भी पद्मावती का सपोर्ट किया है. जयपुर में सर्व ब्राह्मण महासभा ने सेंसर बोर्ड को एक पत्र भेजकर पद्मावती को बैन करने की मांग कर रहा है. इस पर खून से हस्ताक्षर किए गए हैं.

1 दिसंबर को भारत बंद : श्री राजपूत करणी सेना के लोकेन्द्र सिंह ने कहा, यदि 1 दिसंबर को पद्मावती रिलीज की जाएगी तो राजपूत संगठन भारत बंद का आयोजन करेंगे. रिलीज के दिन हम देशभर में रैलियां करेंगे.

यूपी में फिल्म शांति व्यवस्था के लिए खतरा : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी शांति व्यवस्था बिगड़ने का हवाला देकर 1 दिसंबर को फिल्म रिलीज न करने की मांग की है. योगी ने केंद्र सरकार को पत्र लिखकर कहा, राज्‍य में स्‍थानीय निकाय चुनाव तथा बारावफात को देखते हुए फिल्‍म का रिलीज होना शांति व्‍यवस्‍था के हित में नहीं होगा. यूपी में निकाय चुनाव के लिए मतों की गिनती भी एक दिसंबर को ही होनी है.

बनाए कानून : मेवाड़ के पूर्व राजघराने के सदस्य लक्ष्यराज सिंह ने कहा, भारत सरकार को ऐसा क़ानून बनाना चाहिए ताकि भविष्य में फिल्म बनाने के नाम पर इतिहास के साथ छेड़छाड़ न की जाए.

भंसाली के खिलाफ केस :यूपी के महाराजगंज में भंसाली के खिलाफ ऐतिहासिक तथ्यों के साथ छेड़छाड़ के आरोप को लेकर केस दर्ज किया गया है. जबकि राजस्थान में एक मंत्री किरण माहेश्वरी ने भी पद्मावती का विरोध किया है. राजस्थान महिला आयोग ने भी सेंसर बोर्ड को चिट्ठी लिख है.

दीपिका नाचने वाली, जला देंगे सिनेमाघर : करणी सेना के चीफ ने कहा, 'दीपिका पादुकोण एक नाचने वाली है. फिल्म में राजपूत रानी की गलत छवि पेश की गई है. अगर फिल्म रिलीज हुई तो हम सिनेमाघर जला देंगे.' 'हम यह फिल्म नहीं देखना चाहते. किसने कहा कि हमें ये फिल्म देखनी है. भंसाली ने 3 मिनट का ट्रेलर जारी किया है. क्या हिंदुस्तान उसके बाप का है. हम ईंट का जवाब पत्थर से देंगे. हम हमारी जान दे देंगे.' उन्होंने कहा, जब तक फिल्म पूरी तरह से बैन नहीं हो जाती हम अपना विरोध जारी रखेंगे. यह हमारे राजपूत समाज की बेइज्जती है. इस फिल्म को दिखाने की कोई जरूरत नहीं है.'

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